Wednesday, April 23, 2008

आवाज देना आजाऊंगा !!



जीवन लगे तुझको भंवर , ना कोई संग तनहा सफर !
आवाज देना तब मुझे , संग चलने को आजाऊंगा !!

तेरी तरफ़ हालात है , अपने संग दिन रात है !
सुख की सुनहरी धुप है , मय चांदनी हर रात है !!
जब सुख अँधेरा ओढ़ ले , तेरे अपने भी मुह मोड़ ले !
काली अमावस रात पर, मै दीप बन जल जाऊंगा !!
आवाज देना तब मुझे , संग चलने को आजाऊंगा !!

ये रूप जब तक संग है , चहरे सुनहरा रंग है !
हर कोई तुझ को प्यार दे , दुनिया के ऐसे ढंग है !!
जब रूप ले तुझसे विदा, ना कोई हो तुझ पे फ़िदा !
तेरे हुस्न पे लिख के गजल, हर एक महफ़िल गाऊंगा !!
आवाज देना तब मुझे , संग चलने को आजाऊंगा !!

ना हार ना कोई जीत है, ये प्रेम पावन दीप है !
शर्तो मै जो बंध कर रहे, सौदा है ना वो प्रीत है !!
ये शर्त सारी छोड़ कर, भ्रम हार जीत का तोड़ कर !
गर संग मेरे चल सको, मै राह फूल बिछाऊंगा !!
आवाज देना तब मुझे , संग चलने को आजाऊंगा !!

No comments: